प्राचीन समय की बात है। चारों ओर जल-ही-जल था, केवल भगवान विष्णु शेषनाग की शैय्या पर सोये हुए थे। उनके कान की मैल से मधु
Read full story...जड़भरत
जड़भरत के पिता उन्हें पंडित बनाना चाहते थे, किंतु बहुत प्रयत्न करने पर भी वे एक भी श्लोक याद न कर सके। उनके पिता ने
Read full story...दत्तात्रेय
एक बार वैदिक कर्मों का, धर्म का तथा वर्णव्यवस्था का लोप हो गया था। उस समय दत्तात्रेय ने इन सबका पुनरूद्धार किया था। हैहयराज अर्जुन
Read full story...जांबवती एवं सत्यभामा
सत्राजित सूर्य का भक्त था। उसे सूर्य ने स्यमंतक मणि प्रदान की थी। मणि अत्यंत चमकीली तथा प्रतिदिन आठ भार (तोल माप) स्वर्ण प्रदान करती
Read full story...Most powerful weapon…
“Education is the most powerful weapon which you can use to change the world.”― Nelson Mandela “शिक्षा सबसे शक्तिशाली हथियार है जिसका उपयोग आप दुनिया
शिव और अर्जुन
हिमालय पर्वतमाला में ‘इन्द्रकील’ बड़ा पावन और शांत स्थल था। ॠषि-मुनि वहां तपस्या किया करते थे। एक दिन पांडु पुत्र अर्जुन उस स्थल पर पहुंच
Read full story...परशुराम और सहस्त्रबाहु
हैहयवंश में उत्पन्न कार्तवीर्य अर्जुन बड़ा प्रतापी और शूरवीर था। उसने अपने गुरु दत्तात्रेय को प्रसन्न करके वरदान के रूप में उनसे हज़ार भुजाएं प्राप्त
Read full story...धन्वन्तरि वैध
देवता एवं दैत्यों के सम्मिलित प्रयास के श्रान्त हो जाने पर क्षीरोदधि का मन्थन स्वयं क्षीर-सागरशायी कर रहे थे। हलाहल, गौ, ऐरावत, उच्चै:श्रवा अश्व, अप्सराएँ,
Read full story...हिरण्यकशिपु
धरा के उद्धार के समय भगवान ने वाराहरूप धारण करके हिरण्याक्ष का वध किया। उसका बड़ा भाई हिरण्यकशिपु बड़ा रुष्ट हुआ। उसने अजेय होने का
Read full story...कुबेर
महर्षि पुलस्त्य के पुत्र महामुनि विश्रवा ने भारद्वाज जी की कन्या इलविला का पाणि ग्रहण किया। उसी से कुबेर की उत्पत्ति हुई। भगवान ब्रह्मा ने
Read full story...महिषासुर का वध
पूर्वकाल की बात है। रम्भ दानव को महिषासुर नामक एक प्रबल पराक्रमी तथा अमित बलशाली पुत्र हुआ उसने अमर होने की इच्छा से ब्रह्मा जी
Read full story...त्रिशंकु
त्रिशंकु के मन में सशरीर स्वर्ग-प्राप्ति के लिए यज्ञ करने की कामना बलवती हुई तो वे वसिष्ठ के पास पहुचे। वसिष्ठ ने यह कार्य असंभव
Read full story...महर्षि भृगु
भगवान विष्णु के हृदय-देश में स्थित महर्षि भृगु का पद-चिह्न उपासकों में सदा के लिये श्रद्धास्पद हो गया। पौराणिक कथा है कि एक बार मुनियों
Read full story...समुद्र-मन्थन की कथा
एक दिन बलि की सभा में बैठे हुए नीति-निपुण देवराज इन्द्र ने बलि को सम्बोधित करके हँसते हुए कहा- ‘वीरवर ! हमारे हाथी-घोड़े आदि नाना
Read full story...Future belongs to those…
“The future belongs to those who believe in the beauty of their dreams.” ― Eleanor Roosevelt “भविष्य उनका है जो अपने सपनों की सुंदरता में
नलकूबेर तथा मणिग्रीव
द्वापर युग में कुबेर जैसा शानवान कोई नहीं था। उसके दो पुत्र थे। एक का नाम नलकूबर था व दूसरे का मणिग्रीव। कुबेर के ये
Read full story...कच और संजीवनी
देव और दानवों में सदा युद्ध छिड़ा रहता था। दैत्य देवों से अधिक शक्तिशाली पड़ते थे, क्योंकि वे देवों के बड़े भाई थे, दैत्यों के
Read full story...अहोई व्रत कथा
प्राचीन काल में किसी नगर में एक साहूकार रहता था। उसके सात लड़के थे। दीपावली से पहले साहूकार की स्त्री घर की लीपा-पोती हेतु मिट्टी
Read full story...महर्षि ऐतरेय
माण्डूकि नामक एक ऋषि थे उनकी पत्नी का नाम इतरा था। ये दोनों ही भगवान के भक्त थे तथा अत्यन्त पवित्र जीवन व्यतीत करते थे।
Read full story...अघासुर का वध
कंस के दैत्यों में अघासुर बड़ा भयानक था। वह वेश बदलने में दक्ष तो था ही, बड़ा शूरवीर और मायावी भी था। कंस ने कृष्ण
Read full story...बकासुर का वध
श्रीकृष्ण, भैया दाऊ और अपने मित्रों के साथ नियमित रूप से वन जाने लगे। वे चारागाह जाते, गाय-बछड़ों को स्वतंत्र विचरण करने के लिए छोड़
Read full story...वत्सासुर का वध
वृन्दावन के चारों ओर प्रकृति का वैभव बिखरा हुआ था। तरह-तरह के फलों और फूलों के वृक्ष थे। स्थान-स्थान पर सुदंर कुंज थे। भांति-भांति के
Read full story...अनन्त चतुर्दशी
इस दिन भगवान विष्णु की कथा होती है। इस दिन भक्तगण लौकिक कार्यकलापों से मन को हटाकर ईश्वर भक्ति में अनुरक्त हो जाते हैं। इस
Read full story...Hard work…
“Hard work make us strong and behavior makes us unique.” ― Kishore Bansal “कड़ी मेहनत हमें मजबूत बनाती है और व्यवहार हमें अद्वितीय बनाता है।”
मतस्य अवतार
कल्पांत के पूर्व एक बार ब्रह्मा जी की असावधानी के कारण एक बहुत बड़े दैत्य ने वेदों को चुरा लिया था। उस दैत्य का नाम
Read full story...बाराह अवतार
हिरण्याक्ष और हिरण्यकशिपु जुड़वां भाई थे इनका जन्म दिति के गर्भ से हुआ था। तो धरती कांप उठी आकाश में लोक इधर से उधर डोलने
Read full story...बुद्ध और अनुयायी
भगवान् बुद्ध से एक गरीब अनुयायी ने कहा , ” प्रभु ! मुझे आपसे एक निवेदन करना है। ” बुद्ध: बताओ क्या कहना है ?
Read full story...परिवर्तन
मिटटी के नीचे दबा एक बीज अपने खोल में आराम से सो रहा था। उसके बाकी साथी भी अपने अपने खोल में सिमटे पड़े हुए
Read full story...वामन अवतार
पुराणों में लिखा है कि देव माता अदिति ने विष्णु जी की तपस्या की। तपस्या से प्रसन्न होकर भगवान ने उन्हें वरदान दिया कि वे
Read full story...पूर्णमासी व्रत की कथा
श्रीकृष्ण जीएक दिन अपनी माता से कहने लगे कि इस भूमण्डल पर एक अत्यन्त प्रसिद्ध राजा चन्द्रहास से पालित अनेक प्रकार के रत्नों से परिपूर्ण
Read full story...सोलह सोमवार की कथा
एक समय श्री महादेव जी पार्वती जी के साथ भ्रमण करते हुए मृत्युलोक में अमरावती नगरी में आये, वहां के राजा ने एक शिवजी का
Read full story...Success is stumbling…
“Success is stumbling from failure to failure with no loss of enthusiasm.” ― Winston S. Churchill
Worst part of success…
“The worst part of success is trying to find someone who is happy for you.” ― Bette Midler “सफलता का सबसे बुरा हिस्सा किसी ऐसे
You only live once…
“You only live once, but if you do it right, once is enough.” ― Mae West “आपको केवल एक ही बार जिंदगी मिलती है, किंतु
Live as if you were to die..
“Live as if you were to die tomorrow. Learn as if you were to live forever.”― Mahatma Gandhi जियो ऐसे जैसे कल मरने वाले हो।
Art is the lie
“Art is the lie that enables us to realize the truth.” ― Pablo Picasso “कला वह झूठ है जो हमें सच्चाई का एहसास कराने में
Truth is a beautiful and terrible thing
“The truth is a beautiful and terrible thing, and should therefore be treated with great caution.”―Dumbledore “सच्चाई एक सुंदर और भयानक चीज है, और इसलिए
कथा काल भैरव की
शिव की क्रोधाग्नि का विग्रह रूप कहे जाने वाले कालभैरव का अवतरण मार्गशीर्ष कृष्णपक्ष की अष्टमी को हुआ। इनकी पूजा से घर में नकारत्मक ऊर्जा,
Read full story...मकरध्वज का जन्म
हिंदू धर्म को मानने वाले यह बात बहुत अच्छी तरह से जानते हैं कि भगवान श्रीराम के परमभक्त व भगवान शंकर के ग्यारवें रुद्र अवतार
Read full story...सात साल
यह उस समय की बात है जब शिछा मठो में दी जाती थी, एक प्रसिद्द गुरु अपने मठ में शिक्षा दिया करते थे। पर यहाँ
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